Sunday, 29 June 2025

मैं एक शिक्षक हूँ — सीढ़ियाँ मेरी राह हैं

 मैं एक शिक्षक हूँ — सीढ़ियाँ मेरी राह हैं

हर छात्र की आँखों में सपना देखता हूँ,

उनके मन में उजाला भरता हूँ।

सीढ़ियाँ जो मुश्किल लगती थीं पहले,

अब उन्हें पार करना सिखाता हूँ।


हर गिरावट को समझता हूँ मैं,

हर दर्द में साथ चलता हूँ।

कभी हौंसला बन जाता हूँ,

जीवन की राह में मैं रोशनी हूँ,

उनके सपनों का पुल बनता हूँ।

सीढ़ियाँ चाहे जितनी भी ऊँची हों,

मैं उन्हें पार करने का तरीका बताता हूँ।


कभी थकता नहीं, कभी रुकता नहीं,

क्योंकि हर जीत में मेरी भी जीत है।

मैं एक शिक्षक हूँ, एक राह दिखाने वाला,

सीढ़ियाँ मेरे साथ, हर कदम साथ चलती हैं।

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